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अपेंडिसाइटिस क्या है इसके कारण लक्षण व उपचार

अपेंडिसाइटिस क्या है इसके कारण लक्षण व उपचार

कई बार हमारे शरीर में ऐसे रोग उत्पन्न होते है जो की बहुत खतरनाक रोग होती है और इस रोग का समय पर इलाज न होने के कारण रोगी की मृत्यु भी हो सकती है और कई रोग ऐसे होते हैं जो कि उत्पन्न होते ही असहनीय दर्द देते हैं जिनसे रोगी बहुत ज्यादा परेशान होता है तो इसी तरह से एपेन्डिसाइटिस भी एक ऐसा रोग है जो कि रोगी को असहनीय दर्द देता है .

इस रोग का दर्द एकदम से शुरू होता है और यह रोगी को रुला देने वाला दर्द होता है तो आज के इस ब्लॉग में हम किसी समस्या के बारे में विस्तार से जानेंगे इस ब्लॉग में हम बताएंगे कि एपेन्डिसाइटिस कैसे उत्पन्न होता है इसके कौन-कौन से कारण लक्षण और उपचार के तरीके होते हैं.

एपेन्डिसाइटिस Appendicitis

भारी शरीर में हमारे शरीर में पेट के नीचे दाएं तरफ एक बड़ी आंत का भाग होता है और जब उस भाग में सूजन या कोई अन्य दिक्कत आ जाती है तब वह एकदम से दर्द करने लगता है इसी को एपेन्डिसाइटिस कहा जाता है जैसा कि आप इस के नाम से भी समझ सकते हैं जैसा कि आप इस के नाम से भी समझ सकते हैं अपेंडिक्स का मतलब होता है.

अपेंडिक्स और हाइट्स का मतलब होता है अपेंडिक्स की सूजन और यह एक पतली ट्यूब के आकार की होती है अपेंडिक्स लगभग 5-10 से.मी. (2-4 इंच) लंबाई की एक छोटी पतली थैली होती है यह हमारे शरीर की उस बड़ी अंतड़ी से जुड़ी होती है जिसमें मल बनता है जब यह रोग उत्पन्न होता है तब इसमें एकदम से तेज दर्द उठता है और इसके साथ ही उल्टी व बेचैनी होने लगती है

एपेन्डिसाइटिस के कारण

Causes of appendicitis in Hindi – अगर अपेंडिसाइटिस के कारणों के बारे में बात की जाए तो वैसे तो इस रोग के उत्पन्न होने के कारणों के बारे में अभी तक स्पष्ट नहीं हो पाया है कि इसके पीछे क्या कारण होते हैं

लेकिन इसके कुछ कारण जरूर होते हैं जैसे हमारे शरीर में अपेंडिक्स में कोई पदार्थ चला जाए और जिससे व ब्लॉक हो जाए तब उससे हमारी अपेंडिक्स नली में सुजन उत्पन्न हो जाती है .

उससे रोगी को तेज दर्द होता है या इसके अलावा रोगी के आँत में संक्रमण होने के कारण अपेंडिक्स में सूजन और फुलावट आना, पेट में घातक चोट लगना, ज्यादा वजन उठाना व कठोर कार्य करना एकदम से किसी वस्तु के ऊपर ज्यादा जोर लगाना या अपेंडिक्स साइट के ऊपर ज्यादा दबाव डालना आदि.

एपेन्डिसाइटिस के लक्षण

Symptoms of appendicitis in Hindi – अगर इस समस्या के उत्पन्न होने के बाद या पहले के लक्षणों के बारे में बात की जाए तो इस समस्या के उत्पन्न होने पर शरीर में कई प्रकार के लक्षण देखने को मिलते हैं

लेकिन इसका सबसे बड़ा लक्षण हमारे पेट के नीचे दाएं तरफ एकदम से तेजी से दर्द उत्पन्न होना मुख्य कारण होता है इसके अलावा कई बार रोगी को शुरू में धीरे दर्द होता है.

फिर अचानक से तेज दर्द शुरू होता है कई लोगों में नाभि के आस पास दर्द शुरू होता है और फिर बाईं तरफ अपेंडिक्स की तरफ होने लगता है और जब रोगी अपेंडिक्स की तरफ दबाव डालता या घूमता फिरता या गहरी सांस लेता है तब वह दर्द बढ़ने लगता है इसके अलावा रोगी में जी मिचलाना, भूख न लगना, हल्का बुखार, पेट की सूजन, कब्ज की समस्या व उल्टी आदि के लक्षण भी देखे जाते हैं

एपेन्डिसाइटिस का इलाज

treatment of appendicitis in Hindi – जब किसी रोगी को अपेंडिसाइटिस की समस्या उत्पन्न होती है तब उसका इलाज सर्जरी के द्वारा ही किया जाता है

इस समस्या में रोगी को सबसे पहले खून की जांच, पेशाब की जांच और अल्ट्रासाउंड आदि के द्वारा चेक किया जाता है और फिर डॉक्टर रोगी की सर्जरी करते हैं और किसी भी इंसान के शरीर में अपेंडिसाइटिस फटने से पहले सर्जरी होना बहुत जरूरी होता है.

क्योंकि जब किसी इंसान के शरीर में अपेंडिसाइट फट जाती है तब इससे रोगी की मृत्यु हो सकती है क्योंकि अपेंडिसाइटिस फटने से हमारे पेट में संक्रमण फैल जाएगा

इसलिए अपेंडिसाइट के लक्षण दिखाई देते ही तुरंत डॉक्टर के पास जाना चाहिए जब डॉक्टर सर्जरी करता है उसके बाद आपको 1 से 2 दिन अस्पताल में रखा जाता है उसके और उसके बाद आप को अस्पताल से छुट्टी मिल जाती है इसकी सर्जरी के बाद आपको कई बातों का ध्यान भी रखना होता है

क्या करना चाहिए

  • सर्जरी के बाद डॉक्टर की बताई गई दवाइयों का नियमित रूप से सेवन करना चाहिए
  • डॉक्टर की बताई गई बातों का ध्यान रखना चाहिए
  • आपको ज्यादा से ज्यादा आराम करना चाहिए आपको खुली हवा में बैठना चाहिए
  • आपको अपने शरीर के ऊपर कम से कम दबाव डालने की कोशिश करनी चाहिए
  • आपको सर्जरी के बाद खुद से उठना बैठना वह चलना नहीं चाहिए
  • आपको समय-समय पर अपनी सर्जरी को डॉक्टर से चैट करवाते रहना चाहिए
  • आपको सर्जरी के लगभग 6 से 8 हफ्ते के बाद ही हल्का फुल्का घूमना फिरना और सैर करनी चाहिए

क्या नहीं करना चाहिए

  • आपको अपने शरीर के ऊपर दबाव नहीं डालना चाहिए
  • आपको ज्यादा मिर्च मसालेदार में उत्तेजक खाद्य पदार्थों का सेवन नहीं करना चाहिए
  • आपको शराब बीड़ी तंबाकू गुटके आदि का सेवन नहीं करना चाहिए
  • आपको डॉक्टर की बताई गई बातों को अनदेखा नहीं करना चाहिए
  • आपको रिकवरी से पहले ज्यादा शारीरिक गतिविधियां नहीं करनी चाहिए
  • आपको सर्जरी के बाद  ऊंची नीची जगह पर नहीं जाना चाहिए

सर्जरी के अलावा कोई उपाय

Any solution other than surgery in Hindi – वैसे तो इस समस्या के उत्पन्न होने पर ज्यादातर लोगों को डॉक्टर सर्जरी की ही सलाह देते हैं लेकिन कुछ लोगों को डॉक्टर लेकिन कई लोगों में अपेंडिक्स फोड़ा होता है जो कि डॉ सर्जरी से पहले फोड़े वाली जगह पर ट्यूब डालकर इलाज करते हैं और ट्यूब को पेट के अंदर लगभग 2 हफ्ते के लिए रखा जाता है.

जिसके सहारे से रोगी के फोड़े को बाहर निकाल दिया जाता है और रोगी को संक्रमण से बचाने के लिए एंटीबायोटिक दवाएं दी जाती है और इसके बाद 6 से 8 हफ्ते में रोगी की सूजन और संक्रमण दोनों को नियंत्रित कर लिया जाता है अगर फिर भी इस समस्या को कंट्रोल नहीं किया जाता तब डॉक्टर सर्जरी के द्वारा अपेंडिक्स को हटा देते हैं

लेकिन फिर भी अगर किसी इंसान में अपेंडिसाइट की समस्या उत्पन्न हो जाती है तब उसको तुरंत डॉक्टर के पास जाना चाहिए और अपने टेस्ट आदि करवाकर डॉक्टर की सलाह लेनी चाहिए क्योंकि अपेंडिसाइट से एक खतरनाक समस्या है इसके फटने से रोगी की मृत्यु भी हो सकती है इसलिए इस समस्या में देरी करना जान से खेलने के बराबर है.

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