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पेट में पानी भरने के कारण लक्षण घरेलू उपचार

पेट में पानी भरने के कारण लक्षण घरेलू उपचार

वैसे तो इंसान के किसी भी अंग पर या किसी जगह पर भी कोई बीमारी हो सकती है लेकिन आम तौर पर देखा जाए तो ज्यादातर लोगों को पेट की बीमारियां ज्यादा होती है ऐसी ही पेट की एक बीमारी है जिसमें इंसान के पेट में पानी भर जाता है और उससे इंसान बहुत परेशान होता है और कई बार इस बीमारी से इंसान की ही जल्दी मृत्यु भी हो जाती है और यह एक बहुत ही खतरनाक बीमारी है तो आज के इस ब्लॉग में हम बात करेंगे कि पेट में पानी क्यों भरता है इसे कैसे बचा जा सकता है और इसके उपचार आदि के बारे में.

पेट में पानी भरना

वैसे तो जब किसी इंसान के पेट में पानी भर जाता है तब इस समस्या को जलोदर उदर में पानी भरना कहा जाता है लेकिन सामान्य तौर पर इस बीमारी को पेट में पानी भरने की समस्या के नाम से भी जाना जाता है और जब किसी के पेट में पानी भर जाता है तब उस स्थिति में उस इंसान के पेट का आकार बड़ा हो जाता है और उस इंसान के शरीर में पाचन संबंधित कई रोग हो जाते हैं फिर उस इंसान को चलने फिरने और उठने बैठने आदि में दिक्कत होने लगी और इसके अलावा भी रोगी को दूसरे रोगों के कारण बहुत सारी परेशानियों का भी सामना करना पड़ता है

पेट में पानी भरने के कारण

जब किसी इंसान के शरीर में जलोदर उत्पन्न होने की समस्या पैदा हो जाती है तब इसके पीछे कई कारण होते हैं जैसे प्लीहा, फेफड़े, हृदय, यकृत और अग्नाशय आदि के कार्यों में विकृति आना, रक्त संचार में रूकावट आना, बावासीर, अग्रिमाच, पीलिया, नाड़ी, अग्निमांद्य रोग, नाड़ी अर्बुद, क्षय, कैंसर, रक्त वाहिनियों में बीमारी होने के कारण किसी भी इंसान को यह समस्या उत्पन्न हो सकती है

पेट पानी होने के लक्षण

अगर किसी इंसान को पेट में पानी होने की समस्या उत्पन्न होती है तब उस इंसान के अंदर कई प्रकार के लक्षण भी देखने को मिलते हैं जैसे इसका सबसे बड़ा और मुख्य कारण उस इंसान के पेट का आकार बढ़ जाना, पेट फूलना, सांस लेने में कठिनाई होना, बेचैनी रहना, हृदय की धड़कन का बढ़ना, जी करवटें लेना, चलने में दिक्कत होना, उठने बैठने में दिक्कत होना, टांगे सूज जाना, कब्ज की शिकायत रहना, उधर में जल की तरंगों का सुनाई देना, पेट में सूजन होना, पेट में हल्का दर्द महसूस होना, झुकने में परेशानी होना,हिलने डुलने पर पेट में गुड गुड होना, पेट दबाने पर पानी की गति महसूस होना इस तरह के बहुत सारे लक्षण होते हैं जो कि किसी इंसान के उदर में पानी भरने से दिखाई देते हैं

क्या-क्या खाना चाहिए

पेट में पानी भरना एक पेट से संबंधित रोग है इसलिए इस समस्या के उत्पन्न होने पर रोगी को खान-पान के ऊपर ध्यान देना बहुत जरूरी होता है क्योंकि अगर वह गलत चीजों का सेवन करता है तब उसको किसी और दूसरे रोग का भी खतरा बना रहता है लेकिन अगर वह कई चीजों पर कंट्रोल करता है और अच्छी चीजों का सेवन करता है तब वह धीरे-धीरे इस आरोप को कम भी कर सकता है

  • उस इंसान को पीपली दूध में उबालकर दिन में दो से तीन बार पीनी चाहिए
  • प्यास लगने पर पानी की जगह मक्खन, मुठ्ठा, मीठे अनार का रस और मूली गाजर के पत्तों का रस निकालकर पीना चाहिए
  • सब्जी में मूली लहसुन लाल सहिजन, मूली, मकोय करेला आदि खाना चाहिए
  • उस इंसान को पालक, शलगम, सेम. बैंगन आदि का भी सेवन करना चाहिए
  • फलों में मीठा अनार, पपीता , आम, अंजीर आदि खाने चाहिए
  • भोजन में पुराने चावलों का भात और मूंग की दाल या जौं का मांड खाना चाहिए

क्या नहीं खाना चाहिए

  • उस इंसान को ज्यादा मिर्च मसालेदार भोजन का सेवन नहीं करना चाहिए
  • उसको तले भुने हुए व कठोर भोजन का सेवन नहीं करना चाहिए है
  • भोजन में नए चावल का भात, खट्टी चीजें, खिचड़ी, नमक आदि का सेवन नहीं करना चाहिए
  • उस इंसान को शराब, तंबाकू व अन्य नशीले पदार्थों का सेवन नहीं करना चाहिए
  • उस इंसान को कम से कम पानी पीना चाहिए
  • उसको मछली आदि का सेवन नहीं करना चाहिए
  • कम से कम कोल्ड ड्रिंक कॉफी चाय आदि का सेवन करना चाहिए

क्या करना चाहिए

जब किसी को पेट में पानी भरने की समस्या हो जाती है तब उस इंसान को भोजन की तरह ही कुछ ऐसे कामों से भी बचने की जरूरत होती है जिनसे उसको यह परेशानी आगे ना बढ़ सके और कुछ ऐसे काम होते हैं जिनसे उसको इस रोगों को कम करने में भी मदद मिलती हैं

  • सुबह उठकर खुली हवा में घूमने जाना चाहिए
  • आपको हमेशा गर्म पानी से ही स्नना करना चाहिए
  • शरीर को ठंडी हवा से बचाना चाहिए इसके लिए हमेशा गर्म कपड़े पहने
  • पेशाब की हाज़त होने पर मूत्र अवश्य करना चाहिए
  • सुबह उठकर सुबह उठकर खुली हवा में घूमना चाहिए
  • कब्ज की समस्या को दूर करने के लिए एनीमिया अभी लगवाना चाहिए

क्या नहीं करना चाहिए

  • आपको किसी भी प्रकार का व्यायाम आसन या कठोर कार्य नहीं करना चाहिए
  • आपको अपने शरीर में कब्ज की समस्या बिल्कुल भी उत्पन्न नहीं होने देनी चाहिए
  • आपको पेट के बल नहीं सोना चाहिए आपको घर पर डॉक्टर नहीं बनना चाहिए और तुरंत डॉक्टर के पास जाना चाहिए

पेट में पानी भरने का घरेलू उपचार

लेकिन फिर भी अगर आपको पेट में पानी भरने की समस्या उत्पन्न हो जाती है तब आपको तुरंत जल्दी से जल्दी डॉक्टर के पास जाना चाहिए और डॉक्टर की सलाह लेना चाहिए लेकिन अगर आपको यह समस्या उत्पन्न होने के लक्षण दिखाई देते हैं तब आप कुछ दवाइयों का इस्तेमाल करके उससे पीछा छुडा सकते हैं जिनके बारे में हमने आपको नीचे बताया है इन सभी को आप डॉक्टर की सलाह के अनुसार ही इस्तेमाल करें.

  •  कच्ची प्याज को बार-बार खाने से मूत्र अधिक होता है। अतः यह जलोदर का अच्छी औषधि है।
  •  अजवायन को बछड़े के मूत्र में भिगोकर शुष्क कर लें। तदुपरान्त इसको जलोदर के रोगी को थोड़ा-थोड़ा सेवन करायें। कुछ दिनों में जलोदर में लाभ होता है।
  •   ताजा करेले को कूटकर पानी (रस) निकालें। यह पानी प्रतिदिन 50 ग्राम रोगी को प्रतिदिन सेवन करायें। जलोदर में लाभकारी है।
  •  आक के हरे पत्ते 20 तोला और हल्दी 14 माशा पीसकर उड़द के आकार की गोलियाँ बनाकर सुरक्षित रख लें। यह प्रतिदिन 4 गोलियाँ ताजा पानी के साथ सेवन करने जलोदर दूर हो जाता है।
  •  करेला के 2 तोला रस में थोडा शहद मिलाकर सेवन करने से दस्त होकर रोग दूर होता है।
  •  सिरका पीने से जलोदर रोग नष्ट हो जाता है।
  •  पानी के स्थान पर स्वस्थ बछडे का मत्र पीने से 15 दिनों में ही जलोदर मिट जाता है।

पेट में पानी भरने का इलाज बताओ

हिमालय लिवपूर ड्राप्स, सीरप, टेबलेट, डी०एस० दवा निर्माता द्वारा दवा के साथ दिये गये पत्रक  को पढ़कर रोगी की अवस्थानुसार दें। यह यकृत जन्म जलोदर में लाभकर है। यकृत की क्रिया को सामान्य कर जलोदर में लाभ पहुँचाती है।

मिश्रा श्लीपदारि कैपसूल –  श्लीपद (हाथी पाँव/फोलपांव) रोग में जलोदर होने पर 1-2 कैपसूल प्रतिदिन 2-3 बार दें।

डाबर पुनर्नवामाण्डूर  1-4 रत्ती तक मधु से दिन में 2-3 बार दें।

झण्डू लिविवड एक्सट्रेक्ट ऑफ पुनर्नवा  4 से 8 मिली० दिन में 3 बार या आवश्यकतानुसार दें।

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